
दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून सुक योल को सर्वोच्च न्यायालय ने पद से हटाया, देश में राजनीतिक संकट का अंत
दक्षिण कोरिया की संवैधानिक अदालत ने शुक्रवार को राष्ट्रपति यून सुक योल को उनके पद से औपचारिक रूप से हटा दिया। यह फैसला संसद द्वारा दिसंबर में उनके महाभियोग को पारित करने के बाद आया है। इस फैसले के साथ ही यून को तुरंत राष्ट्रपति भवन खाली करना होगा और अब 60 दिनों के भीतर नए राष्ट्रपति के लिए चुनाव कराए जाएंगे।
यह फैसला उस वक्त आया है जब दिसंबर में यून ने अचानक मार्शल लॉ की घोषणा की थी और देश को एक बड़े राजनीतिक संकट में झोंक दिया था। अदालत के आठ न्यायाधीशों ने सर्वसम्मति से महाभियोग को बरकरार रखते हुए कहा कि राष्ट्रपति का यह कदम संविधान के खिलाफ था और उन्होंने संसद में घुसने की कोशिश कर रहे सैनिकों को “विधायकों को घसीटकर बाहर निकालने” का आदेश देकर अपने संवैधानिक कर्तव्यों का गंभीर उल्लंघन किया।
न्यायालय की तीखी टिप्पणी
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मून ह्युंग-बे ने कहा कि मार्शल लॉ की घोषणा के लिए कोई गंभीर राष्ट्रीय संकट नहीं था, इसलिए इसे उचित नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने इसे “जनता के विश्वास के साथ गंभीर विश्वासघात” बताया।
यून पर इस समय एक अलग आपराधिक मुकदमा भी चल रहा है, जिसमें उन पर विद्रोह का नेतृत्व करने का आरोप है। उन्हें जनवरी में गिरफ्तार किया गया था, लेकिन मार्च में उनकी गिरफ्तारी रद्द कर दी गई थी, हालांकि आरोप अभी भी बरकरार हैं।
राजधानी में मिले-जुले प्रतिक्रियाएं
कोर्ट के बाहर यून के विरोधियों ने झंडे लहराते और संगीत पर नाचते हुए जश्न मनाया, जबकि उनके समर्थकों के बीच गहरी उदासी थी। यून की पार्टी के एक प्रतिनिधि ने फैसले को दुर्भाग्यपूर्ण बताया लेकिन कहा कि वे इसे स्वीकार करेंगे और जनता की सेवा करते रहेंगे।
कैसे पहुंचा देश इस स्थिति तक?
दिसंबर की उस रात यून ने एक टेलीविज़न संबोधन में अचानक मार्शल लॉ की घोषणा कर दी थी। उन्होंने इसे राजनीतिक गतिरोध और उत्तर कोरिया समर्थक “राष्ट्र-विरोधी ताकतों” के खतरे के चलते आवश्यक बताया था। इसके बाद भारी अफरा-तफरी मच गई, प्रदर्शनकारी संसद के बाहर जमा हो गए और सांसद सैनिकों को चकमा देकर आपात बैठक करने में सफल रहे।
इस घटनाक्रम के कुछ घंटों बाद ही यून ने आदेश वापस ले लिया, लेकिन तब तक राजनीतिक अस्थिरता शुरू हो चुकी थी। संसद ने प्रधानमंत्री और कार्यवाहक राष्ट्रपति को भी महाभियोग के तहत हटाया।
बाद में यून ने कहा कि यह आदेश विपक्ष को चेतावनी देने के लिए अस्थायी रूप से जारी किया गया था, और यदि संसद इसे रद्द करती, तो वे निर्णय को मानते।
यून का करियर और पतन
यून 2022 में राष्ट्रपति बने थे और इससे पहले एक प्रमुख अभियोजक थे। उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति पार्क ग्यून-हे के भ्रष्टाचार मामले में प्रमुख भूमिका निभाई थी। आज यून खुद उसी तरह सत्ता से हटाए गए हैं जैसे पार्क को 2017 में हटाया गया था।
अब यून दक्षिण कोरिया के इतिहास में केवल दूसरे ऐसे राष्ट्रपति हैं जिन्हें संवैधानिक न्यायालय ने पद से हटाया है, और वे अब तक के सबसे कम समय तक सेवा देने वाले राष्ट्रपति भी बन गए हैं।
अगले राष्ट्रपति की तलाश
अब 60 दिनों के भीतर नए राष्ट्रपति के चुनाव होंगे। संभावित उम्मीदवारों में विपक्ष के नेता ली जे-म्युंग का नाम प्रमुखता से लिया जा रहा है, जिन्होंने 2022 के चुनाव में यून से करीबी मुकाबला किया था।
कोर्ट के फैसले के बाद ली जे-म्युंग ने कहा, “जनता ने लोकतांत्रिक कोरिया गणराज्य की रक्षा की है। हम देश में शांति, अर्थव्यवस्था और संविधान की बहाली के लिए काम करेंगे।”
कार्यवाहक राष्ट्रपति हान डक-सू ने भी संविधान के अनुसार चुनाव कराने और राष्ट्रीय सुरक्षा सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता जताई।